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Chapter 27 - nina bajaj

अब तक

सिंध्या अब थक गई थी पहले पूरी कंपनी घूम कर और अब दोनो बच्चो के साथ खेल कर , ,  वो सोफा पर बैठते हुए बोली , ,में थक गई , ,

अश्विका और ईधांश उसके अगल बगल बैठ जाते हैं तो ईधांश बोला _" मम्मा भूख लगी हैं "

सिंध्या ईधांश की बात सुन अपने बैग से एक कुकीज का बॉक्स और कुछ चिप्स के पैकेट निकालती हैं। और कहती हैं _" यही हैं अभी तो , ,थोड़ी देर में डैडी आ जायेंगे फिर घर चल का टेस्टी टेस्टी खाना खाएंगे , , ठीक हैं ना "

अश्विका खुश होते हुए बोली _" हा मम्मा , ,  अश्वी को यह बहुत पसंद हैं अश्वि यही खाएगी ।"

अश्विका की बात सुन ईधांश और सिंध्या स्माइल कर देते हैं।

तभी ऑफिस का गेट अचानक से ओपन होता हैं और एक आवाज आती हैं " अश्विन   , , , , , "

अब आगे

किसी की आवाज सुन तीनो पीछे मुड़ कर देखते हैं तो दरवाजे के पास एक लंबी लड़की खड़ी हुई थी जो की अपने चेहरे के मेकअप की वजह से खूबसूरत लग रही थी।

उस लड़की को देख अश्विका स्माइल करते हुए बोली" नीना आंटी "

वो लड़की नीना बजाज , इस कम्पनी में पब्लिक वर्क डिपार्टमेंट मैनेजर थी वो सब कुछ मैनेज करती थी , ,कल जब अश्विन आया था तो वो कल किसी काम से बाहर गई थी इसलिए वो आज मिलने आई थी।

नीना मटकते हुए ऑफिस के अंदर आ रही थी साथ ही उसके टक टक टक टक टक टक की आवाज भी।

नीना अंदर का सोफा पर बैठते हुए अश्विका और ईधांश को देख प्यार से बोली _" बेबी आप केसे हो , ,क्या आपने अपनी नीना आंटी को मिस किया ?"

ईधांश नीना की बात सुन मुंह बना के बोला _"। बिलकुल भी नही किया , , "

यह सुन नीना का चेहरा कला पड़ गया था वही सिंध्या को हसी आ जाति हैं।

सिंध्या को वहा देख नीना एटीट्यूड में बोली _" तुम कोन हो और इस तरह क्यों हस रही हो।" वो यह बोल सिंध्या को इस देखती हैं जेसे मानो कोन सी डिसगस चीज देख ली हो।

नीना की ऐसी बात ईधांश को अच्छी नही लगती हैं वो कुछ कहती उससे पहले ही वहा एक आवाज गूंजी , ,," वो इन दोनो की केयरटेकर हैं नीना , , "

नीना आवाज सुन अपनी नजर घुमा देखती हैं तो अश्विन को खड़ा पाती हैं , अश्विन को देख नीना प्यारी स्माइल कर उसके पास उसे गले लगाते हुए बोली _" long time no see ashwin , , केसे हो तुम "

अश्विन नीना को खुद से अलग कर एक नजर सिंध्या को देख बोला _" हम 1 हफ्ते पहले ही मिले थे , , तो तुम इतना रिएक्ट क्यों कर रही हो।

नीना हस्ते हुए बोली _" oh common on ashwin , , अब तुम इतने भी भोले मत बनो , , तुम्हे तो पता ही हैं , ,में तुम्हारे बारे में क्या सोचती हु।

अश्विन अपनी चेयर पर बैठते हुए बोला _" तुम जो भी सोचती हो , ,मेरा उससे कोई लेना देना नही हैं तो यह सब मेरे सामने मत बोला करो।"

दोनो की बातो को सुन सिंध्या को समझ आ गया था ,की कुछ पर्सनल बाते है तो वो अश्विन को देख बोली _" आह मिस्टर अश्विन , , क्या में दोनो बच्चो को लेकर नीचे जाऊ , ,आप अपनी बात खतम कर लेना ।

अश्विन सिंध्या की बात का कुछ जवाब देता उससे पहले ही नीना बोली _"oh you shut up ,,poor caretaker , , तुम से किसी ने तुम्हारी राय मांगी जो आ गई देने "

सिंध्या नीना को घूरते हुए बोली " मिस मुझे मालूम हैं की में कोन हु , ,तो मुझे बार बार याद दिलाने की जरूरत नहीं हैं मेरी यादाश्त बहुत ही ज्यादा अच्छी हैं। , ,और हा में अपना काम अच्छे से कर रही हु आप अपना देखिए " यह बोल वो वहा से निकल जाति हैं दोनो को ले कर

अश्विन सिंध्या को बस जाता देखता रहता हैं तो नीना उसका ध्यान सिंध्या की तरफ देख कर बोली _" अश्विन , ,तुम्हे हुआ क्या हैं , ,तुमने कैसी केयरटेकर रखी हुई हैं , ,इससे बढ़िया तो तुम मुझ से कहते हैं में किसी अच्छी केयरटेकर की भेजती हैं।, ,"

"मुझे तुम्हारी हेल्प की कोई जरूरत नही हैं , ,तुम्हे अब जाना चाहिए " अश्विन अपने एरोगेंट आवाज में बोला

नीना अश्विन की बात को इग्नोर कर अपनी आवाज में एक्स्ट्रा स्वीटनेस एड कर बोली _" अश्विन तुमने हमारी शादी के बारे में क्या सोचा हैं , , तुम ऐसे दादी की बात को इग्नोर नही कर सकते हो।"

एक ही बात को दोबारा सुन अश्विन फ्रस्ट्ड होते हुए बोला _" अपनी बकवास बंद करो , ,मेने तुमसे पहले ही कहा था मना कर दी दादी को , ,मुझे तुमसे शादी करने में कोई दिलचस्पी नहीं हैं , ,फिर क्यों एक ही बात की रट लगाए बैठी हो ,, दोस्त हो इसलिए कुछ नही कहता हु पर तुम मेरी सराफत का कुछ ज्यादा ही फायदा उठाने लग गई हो ।" यह कहते हुए वो नीना को काफी गुस्से में घूर रहा था।

नीना अपनी आंखे नम कर भरे गले से अश्विन से बोली _" पर अश्विन ,  में तुमसे बहुत प्यार करती हु , , I really love you, ,please marry me , , trust me में अश्विका कर ईधांश का बहुत ही ज्यादा ख्याल रखूंगी।"

अश्विन नीना की बात सुन सरकेस्टली बोला _" oh really, , पर जब दोनो को सबसे ज्यादा जरूरत थी किसी मदर फिगर की तब तुम london में अपना वेकेशन एंजॉय कर रही थी तुम तो ईधांश के एक्सीडेंट के बाद भी नही आई , , और चली हो उन्हे मां का प्यार देने "

यह बोल अश्विन अपनी चेयर से खड़े होते हुए बोला _" तुम्हे कुछ करने की जरूरत नही हैं दादी को में मना कर दूंगा ।

"

वो वहा से निकल जाता हैं , पूछे रह जाति हैं रोती हुई नीना , ,अश्विन एक बार भी पीछे मुड़ उसे नही देखता हैं।

To be continue

Kesa lga aaj ka part btana mat bhulna , ,