Chapter 42 - गुड नाइट मेरी जान

खाँसते हुए निंग क्षी ने लू टिंग की तरफ गुस्से से देखा, जैसे कह रही हो, "तुम बहुत ही कमीने हो।"

निंग क्षी के इस भोले और गुस्से से भरे चेहरे पर लू टिंग को और प्यार आ रहा था| उसने सिगरेट बुझा दी, मुँह का सारा धुआँ बाहर छोड़ दिया, निंग क्षी की तरफ फिर से मुडा और उसे फिर से चूम लिया। निंग क्षी को पहले तो लगा कि भाग जाए यहाँ से पर लू टिंग ने उसे कमर में हाथ डाल कर रोक लिया और उसका मन कहने लगा, बस इस पल में बह जाओ| तभी लू टिंग की आवाज उसके कानो मे पडी, "इस बार धीरे से करूंगा प्लीज।"

निंग क्षी कुछ और समझ पाती, तंबाकू का स्वाद उसके मुँह में पसर गया। दोनों के होंठ अब पहले से भी ज्यादा एक दूसरे में उलझ गये।

लू टिंग ने निंग क्षी को तब तक किस किया, जब तक की उसने पूरी तरीके से थककर अपने आपको लू टिंग को समर्पित नहीं कर दिया। तभी कार की सीट नीचे हो गई और होठो से होठ पर के किस धीरे-धीरे नीचे की तरफ खिसकने लगे| थोड़ी देर के बाद निंग क्षी अपने आपको सातवें आसमान पर महसूस करने लगी। उसका पूरा शरीर मचलने लगा| उसे लगा उसके शरीर का एक एक हिस्सा गिर रहा था और गहरे और गहरे और गहरे समुद्र के अंदर और अंत मे समुद्र के तले पर जा के उसका शरीर ढीला पड़कर बह गया।

लू टिंग ने अब सिर उठाकर देखा तो निंग क्षी थककर सो गयी थी। लू टिंग के थके हुए शरीर मे फिर से जान आ गयी, उसका सारा गुस्सा भी फुर्र हो गया था। हँस के सोचने लगा, "ये मैं क्या कर रहा था, वह भी नशे मे धुत्त लड़की के साथ .....अभी इससे मिले तीन दिन ही हुए थे, और बात यहाँ तक पहुंच गई। इस लड़की के लिए मेरा आकर्षण बढ़ता ही जा रहा है। जब से इसे देखा है, सब कुछ बदला बदला सा लगता है, जीवन जीने की इच्छा फिर से होने लगी।" उस दिन जैसे ही निंग क्षी को गोद मे उठाया था तभी ऐसा लगा कि इतने सालों से जीवन में जो कमी थी वह आज पूरी हो गई। निंग क्षी से एक पल के लिए भी दूर रहना अब गँवारा नहीं होता| मैं किसी भी हालत में निंग क्षी को खोना नहीं चाहता पर कर भी कुछ नहीं सकता, सिवाय इंतजार के।"

लू टिंग ने निंग क्षी को कंबल ओढ़ाया, कार के एसी का तापमान ठीक किया और सिर पर प्यार से किस किया| " गुड नाइट माइ गर्ल!" बोलकर पास ही की सीट पर सो गया।

 सुबह जब निंग क्षी सो कर उठी, तो खुद को लू टिंग की गरम बाँहों में पाया, वह भी एक कार के अंदर। उसके आश्चर्य की कोई सीमा नहीं रही| उसे समझ नहीं आ रहा था कि वह यहाँ लू टिंग के साथ क्या कर रही थी।

"हे भगवान सुबह-सुबह ये क्या देख रही हूँ? इस शैतानों के महान राजा के साथ कार में सेक्स? इससे बुरा क्या हो सकता था मेरे साथ।"

"कार में सेक्स? तुम ऐसा कुछ सोच रही हो तो बता दूँ कि ऐसा कुछ अगर हुआ होता तो इस समय तुम्हारे पास इस तरीके से उल्टा-सीधा सोचने तक की ताकत नहीं बची होती।" लू टिंग ने बिना आंखे खोले जवाब दिया।

" हे भगवान ये तो जाग रहा था।" निंग क्षी ने सोचा। यह सोचकर ही निंग क्षी उछल पडी| उसका सिर कार की छत से टकराने ही वाला था कि लू टिंग ने अपने मजबूत हाथ निंग क्षी के सिर पर रख दिया।

" मिस्टर लू ..."

"तुम मुझे मेरे नाम से पुकार सकती हो वैसे|" लू टिंग ने कहा ।

निंग क्षी को एक रात के बाद लू टिंग काफी बदला सा नज़र आ रहा था।

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