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Chapter 5 - एहसास(गजल)

अब वो हंसने का एहसास

रुला देता है :

जब भी मिलता है मेरे गम को

बढ़ा देता है :

अब वो हंसने का एहसास

रुला देता है :•••••••

जब भी आता मेरी

रात की तन्हाई में :( 2)

आके जख्मों को मेरे

और हवा देता है :

अब वो हंसने का एहसास

रुला देता है :•••••••

ना वो इकरार हुआ

और ना इनकार हुआ :(2)

फिर भी दिल जल के

हल्का सा धुआं देता है :

अब वो हंसने का एहसास

रुला देता है :••••••••

एक मुद्दत से किया

हमने ना गिला कोई :(2)

बता क्या तुझको

मेरा प्यार सदा देता है :

अब वो हंसने का एहसास

रुला देता है :••••••••

तू भी तड़पेगी यकी

मुझको मेरी चाहत पे: (2)

तुझको 'आहत' यही

दिल से दुआ देता है:

By RS Goyal

sing it and feel the lyrics flowing in your veins.