Chereads / kitni mohabbat hai / Chapter 1 - episode 1

kitni mohabbat hai

heart_ticker
  • --
    chs / week
  • --
    NOT RATINGS
  • 6.3k
    Views
Synopsis

Chapter 1 - episode 1

यह डिवोर्स एग्रीमेंट है, मिस्टर विक्रम । मैंने इसे पहले ही साइन कर लिया है। प्लीज इसे आदित्य को दें दीजिये ।"

निया के लिए इस एग्रीमेंट को सौंपना मुश्किल था जो आदित्य खुराना से उसकी शादी को खत्म कर देगा।

आहे भरते हुए , विक्रम ने एग्रीमेंट को देखा और उन क्लॉज़ पर ध्यान दिया, जिसने उसे हैरान कर दिया। उसने लड़की की ओर गौर से देखा और चिल्लाया,

"निया !" हैरानी से , उसने पूछा,

"क्या तुम्हे एहसास है कि यह कितना बेवकूफी भरा है? मैं समझ सकता हूं कि तुम मिस्टर खुराना को तलाक देना चाहती हो । आखिरकार, तुमने पिछले तीन सालों से उस आदमी को नहीं देखा है। लेकिन तुम पैसे क्यों नहीं मांग रही हो?"

20 साल की उम्र में, निया undergraduate थी। उसके पिता की मृत्यु हो गई, जबकि वो नहीं जानती थी कि उसकी माँ कौन है ।

विक्रम की राय में, उसे तलाक नहीं लेना चाहिए, बिना पैसे के शादी से बाहर निकलने की बात तो दूर।

निया ने शर्मिंदगी में अपने सिर के पिछले हिस्से को खुजलाया। वो अच्छी तरह से जानती है कि विक्रम हमेशा उसे एक बेटी की तरह मानता है , इसलिए उसकी उससे कुछ भी छुपाने की कोई योजना नहीं थी।

"मैं... मैं स्कूल छोड़ना चाहती हूँ,"

उसने हकलाते हुए कहा।

"क्या? तुम अचानक स्कूल क्यों छोड़ना चाहती हो ? क्या हुआ? क्या तुम्हे किसी ने धमकाया है?" विक्रम की आँखें अचम्भे से फैल गईं।

"नहीं, नहीं, नहीं! आप ओवररिएक्ट कर रहे हैं, मिस्टर विक्रम । आप पहले से ही जानते हैं, मुझे-मुझे पढ़ना पसंद नहीं है। इसलिए, मैं यूनिवर्सिटी में अपना समय बर्बाद नहीं करना चाहती,"

उसने समझाया

स्कूल छोड़ने का बहाना कच्चा था, लेकिन उसे रोकने के लिए जल्दी से दिमाग में केवल एक ही आइडिया आया। लेकिन वो तलाक चाहने की असली वजह किसी को नहीं बता रही थी.

वो थोड़ी देर चुप रही, क्योंकि उसके दिमाग में कई विचार चल रहे थे।

( कल मेरा 21वां जन्मदिन है और शादी की तीसरी सालगिरह है। )

( मैं अब भी जवान हूं। मैं नहीं चाहती कि यह खोखली शादी सच्चे प्यार की राह में आड़े आए।

मैंने कभी आदित्य खुराना को देखा तक नहीं है। मेरे पिता ने यह शादी तय की थी। कोई इस तरह कैसे जी सकता है?' )

उसने सोचा।

यह महसूस करते हुए कि लड़की कुछ और साझा नहीं करने वाली थी,विक्रम ने स्वीकार किया,

"ऐसा लगता है कि तुमने अपना मन बना लिया है, इसलिए मैं मिस्टर खुराना को कॉल करूंगा..."

उसने उसके कुछ कहने का इंतजार किया।

"मैं कल मिस्टर खुराना को तलाक के कागजात सौंप दूंगा ,"

विक्रम ने एक गहरी आह के साथ कहा जब उसने कोई जवाब नहीं दिया.

" thankyou so much , मिस्टर विक्रम !"

उसने उस आदमी को एक प्यारी सी मुस्कान देने से पहले एक बड़ी राहत की सांस ली।

लेकिन विक्रम अपने आप को कहने से रोख नहीं सका ।

"निया , मिस्टर खुराना एक अच्छे इंसान हैं। मेरा मानना ​​है कि तुम एक परफेक्ट मैच हो उनके लिए , इसलिए मुझे आशा है कि तुम डिवोर्स के बारे में एक बार और सोचोगी । यदि तुम अपना मन बदलती हो , तो तुम मुझे कभी भी कॉल कर सकती हो ," उसने ईमानदारी से कहा।

उसने जो कुछ कहा, उनमें से दो शब्द ऐसे थे जिन्होंने निया को परेशान कर दिया।

'परफेक्ट मैच?

वो शादी में भी नहीं आया था! वो आदमी उस समय एक विदेशी राष्ट्रपति के डिनर रिसेप्शन में था। और हमारे मैरिज सर्टिफिकेट की फोटो भी फोटोशॉप्ड थी।

( पिछले तीन वर्षों में, मैंने उस पर नज़र भी नहीं रखी है। तो, मिस्टर विक्रम क्यो कह रहे है कि हम एक परफेक्ट मैच हैं?'

निया अपने सिर में सरकास्टिक विचारों को कण्ट्रोल नहीं कर सकी।

अंत में होश में आते ही निया ने दोबारा बोलने से पहले एक गहरी सांस ली।

, "मैंने अपना मन बना लिया है,"

यह सोचकर कि उसने अपना मन डिवोर्स देने का बना लिया है , विक्रम ने तलाक के कागजात के बारे में आदित्य को सूचना देने के लिए धीरे-धीरे अपना सेल फोन निकाला और एक नंबर डायल किया।

"मिस्टर खुराना मेरे पास एक डाक्यूमेंट है जिस पर आपके सिग्नेचर की जरूरत है,"

उसने सम्मानपूर्वक कहा।

"वह कौन सा डाक्यूमेंट है?" फोन के दूसरे छोर से ठंडा जवाब आया

कुछ सेकंड झिझकने के बाद, विक्रम ने जवाब दिया,

"एक तलाक का समझौता।"

यह सुनकर उसके हाथ में रखा पेन जम गया.. उसने अपनी आँखें बंद कर लीं और अपनी आइब्रो को सोच-समझकर रगड़ा।

जैसे ही उसने सोचा,

'ओह, मेरी एक पत्नी है। अगर विक्रम ने मुझे अभी फोन नहीं किया, तो मुझे यह भी याद नहीं था कि मैं शादीशुदा हूं और मेरी एक पत्नी है।'

" मेरे स्टडी में पेपर रख दो मैं कुछ दिनों मे मुंबई वापस आ जाऊंगा,"

आदित्य ने शांत भाव से कहा।

"ओके , मिस्टर खुराना ,"

विक्रम ने स्वीकार किया, और फिर फोन काट दिया।

इस बीच, मुंबई के ब्लू नाइट क्लब में,

क्लब कम रोशनी वाला है लेकिन लोगों से भरा हुआ है

यंग लड़के और लड़किया इस क्लब में आते है जो शहर में बहुत फेमस है ।

रूम नंबर 501 में बीयर, वाइन, शैंपेन और कई तरह के स्नैक्स से भरी एक टेबल थी।

कमरा में जन्मदिन की पार्टी हो रही है । जश्न मनाने वाले निया मल्होत्रा है , जो आज 21 साल की हो गयी है ।

उसके क्लासमेट ने उसका नाम "टॉम्बॉय" रखा है , निया ने ब्लू लैस ड्रेस पहनी हुई है.. यह बहुत कम मौकों में से एक था कि उसने जींस और शर्ट की अपनी नॉर्मल ड्रेस के बजाय कुछ feminine पहना है ।

निया के साथ सेल्फी लेने के लिए कई लड़कियों ने अपने फोन निकाल लिए।

सभी के फ़ोटो लेने के बाद, youngsters ने अपने क्लासमेट के साथ शराब पीकर मस्ती करना शुरू कर दिया।

कमरे के एक कोने में ढेर सारे गिफ्ट निया को फ्रेंड्स और क्लासमेट से मिले है ।

अचानक से लड़के ने गाना शुरू कर दिया , उसकी बाँह दूसरे लड़के के कंधों पर टिकी हुई थी।

वो गाते हुए लड़खड़ा रहा है ।

उसकी आवाज़ इतनी कर्कश थी कि कई लड़कियों ने अपने कान बंद कर लिए और कराह उठी।

"अरे, कबीर ! वो गाना बंद करो..चलो ऐसा खेल खेलते हैं जिससे किसी के कानो में दर्द नहीं होगा ।"

यह आरुषि है , जो निया के रूममेट्स में से एक है , जिसने कबीर को बुलाया।

वो एक हंसमुख लड़की है, कॉन्फिडेंस से भरी , जिस पर हमेशा लोगों का ध्यान जाता है ।

उसके सुझाव पर कमरे के सभी लोग चुप हो गए। कमरे में लड़के और लड़कियां आरुषि को देखने के लिए उसके instruction का wait करने लगे

वो एक जानी-मानी पार्टी एनिमल है , और क्लासमेट के बीच पॉपुलर है ।

हर किसी को शरारत भरी नज़रों से देखते हुए,आरुषि ने कहा,

"चलो रॉक.. पेपर... सीजर खेलते हैं!"

एक चालाक मुस्कान उसके होठों को पार कर गई क्योंकि youngsters ने उसके सुझाव पर रोक लगा दी।

उनमें से कई ने आरुषि की ओर तिरस्कारपूर्ण निगाह डाली।

"आरुषि यह गेम बेकार है!"

कबीर , आरुषि के पास आकर बैठ गया उसने घृणा से आँखें मूँद लीं क्योंकि उसे लगा कि यह एक बोरिंग गेम है।

आरुषि ने कबीर को निडरता से देखा और अपनी बात जारी रखी ,

"आज निया का 21st बर्थडे है, इसलिए हम गेम को और interesting बनाएंगे!"

उसने एक बुरी मुस्कान बिखेरी जिससे कुछ मेहमान uncomfortable हो गए।

पार्टी में सभी लोग स्टूडेंट है , कई अभी भी pure और इनोसेंट है । वे गेम से परिचित थे;

लेकिन आरुषि के मन में निया के लिए कुछ और है । जश्न मनाने वालो के गाल पहले से ही बहुत अधिक शैंपेन और शराब से लाल है । जैसे ही पहला दौर शुरू हुआ, आरुषि ने कुछ क्लासमेट को आँख मारकर इशारा किया , जिन्होंने जल्दी से उसके इशारे को पकड़ लिया

"इस दौर में हारने वाले को दरवाजे से बाहर जाना है, दाएं मुड़ना है, और फिर अपोजिट सेक्स वाले इंसान के होठों को किश करना है । यदि वो अपना dare कम्पलीट करने को मना करता तो उसे दस गिलास शराब पीनी पड़ेगी ,"

आरुषि ने declare किया ।