Chapter 206 - हिसाब बराबर

" हाथ की घड़ी काफी मॅहगी दिखती थी , इसलिए मैने उसने दराज़ में रख दिया। मैं उसे गलती से गिरा कर खराब नहीं करना चाहती थी ," सु कियानक्सुन ने अजीब तरह से समझाया। 

" ऐसा है क्या ?लॉन्ग सिजु ने उसको देखा। उसकी आँखों में नज़रे इतनी तेज़ थी , मानो वो उसको सही से देख सकता था। युवा महिला को महसूस हुआ कि वो उससे कुछ भी छुपा नहीं सकती थी। 

सु कियानक्सुन ने कुछ भी नहीं कहा। 

इसको वापिस रखना एक बार जब हम घर पहुंचेगे , समझ आया ?" लॉन्ग सिजु ने की बोर्ड से अपने हाथ को दूर किया और उसके चारो ओर रख दिया। लॉन्ग सिजु अपने एक हाथ से उसकी ठुड्डी को उठाया। 

" समझ गई , युवा मास्टर। " भले ही सु कियानक्सुन अभी भी इस सच से दुखी थी कि उसने सी मैनचेंग को उसकी वफादारी का परीक्षण करने के लिए कहा था, वह अब उसके साथ लड़ाई शुरू नहीं करना चाहती थी।

लॉन्ग सिजु ने युवा महिला के उदास चेहरे को ध्यान से देखा और उसने कुछ बेचैनी महसूस की। लेकिन वह उस तरह का व्यक्ति नहीं था जो अन्य लोगों को कोई भी स्पष्टीकरण दे।

वह अपने सर को नीचे कर अपने होठो को उसके होठो के करीब ले गया। सु कियानक्सुन बिना सोचे समझे उसके हाथ को दूर धकेल दिया , लेकिन उसने उसके हाथ को पकड़ा और अपने सीने के पास ले गया। 

उसी समय युवा महिला उसके दिल की धड़कन को एक ड्रम की तरह महसूस कर सकती थी। 

जब कार जिन गार्डन में पहुंची , लॉन्ग सिजु ने सु कियानक्सुन को कार से बाहर निकाला। पुरे रस्ते के दौरान भले ही लॉन्ग सिजु उसके अंदर नहीं घुसा था , उसकी हौसला अफजाई ने उसे पूरी तरह से थका दिया था।

लॉन्ग सिजु को देखने पर , तांग जुई और सी मैनचेंग खड़े हो गए और लिविंग रूम से बाहर आकर उसका अभिवंदन किया। 

सु कियानक्सुन ने सी मैनचेंग को देखा और उसे याद आया कि कैसे लॉन्ग सिजु ने उस दिन उसकी वफादारी का परीक्षण करने के लिए कहा था। सु कियानक्सुन ने उदास होकर कहा, "मुझे नीचे उतारो । मैं अपने कमरे में वापस अपने आप चल कर जा सकती हूँ। " 

लॉन्ग सिजु ने अपने भौहो को ऊपर किया और एक पल के लिए उसको देखा। उसे फिर आखिरकार उसे नीचे उतारा और कहा ," जाओ जा कर कपडे बदलो और उसके बाद व्यायामशाला पर मेरा इंतज़ार करना। " 

" हुँह ? हम व्यायामशाला क्यों जा रहे है ?" सु कियानक्सुन ने व्याकुल हो कर सर उठाकर उसको देखा। उसको कसरत करने में बिलकुल भी दिलचस्पी नहीं थी। 

मैं नहीं चाहता कि हर बार जब भी हम हमबिस्तर हो तो तुम अपने होश में नहीं हो। सारा मज़ा खराब हो जाता है !" लॉन्ग सिजु ने उसे मायूस हो कर देखा। 

सु कियानक्सुन के पास कहने को कुछ नहीं था। 

सु कियानक्सुन एकदम हड़बड़ा गई थी। वहाँ पर और लोग भी मौजूद थे. वो उन सब के सामने यह सब कैसे कह सकता था !'

युवा महिला हड़बड़ी में पलटी। वो इतनी शर्मा गई कि वो उन दोनों आदमियों के आँखों में फिर नहीं देख सकी!

तांग ने देखा कि उसने भागकर अपने दोस्तों से कहा ," तुम लोग पहले चलो और मेरा अध्ययन कक्ष में इंतज़ार करो। मुझे उस लड़की से कुछ चर्चा करनी है। " 

…..

जब सु कियानक्सुन अपने कमरे में पहुंची , हुआन हुआन ने पहले से उसके लिए व्यायाम करने वाले कपड़े तैयार कर रखे थे। सु कियानक्सुन वास्तव में थक गई थी और व्यायामशाला बिल्कुल भी नहीं जाना चाहती थी। वो केवल थोड़ी देर आराम करना चाहती थी। 

लेकिन वो जानती थी कि उसके पास कोई और चारा नहीं था। यदि वह चाहता था कि वह कुछ करे, तो सु कियानक्सुन केवल उसकी आज्ञा का पालन कर सकती थी। उसको मना करना असंभव था। 

" हे , लकड़ी। " तांग जुई ने दरवाज़े पर प्यार से दस्तक दिया और कमरे के अंदर प्रवेश किया। 

" मैं तुम्हारी कैसे मदद कर कर सकती हूँ ?" सु कियानक्सुनने पलके झपका कर उसको देखा। उसे अचानक से याद आया कि उसे शायद किसी चीज़ में उसकी मदद की जरूरत पड़ सकती है। 

" उम् , मैं तुमसे माफ़ी मांगने आया हूँ। " तांग जुई अनजाने में खाँसा और उसकी ओर देख कर मुस्कराया। 

" तुम मुझसे माफ़ी क्यों मांग रहे हो ? तुमने ऐसा क्या किया है ?"

" याद है उस दिन मैनचेंग तुम्हारे कमरे में आ गया था और तुम्हे पैसे देकर बहकाने की कोशिश की थी ?जुए को इसके बारे में नहीं पता है। मैंने मैनचेंग को ऐसे करने के लिए कहा था ," तांग जुई ने कहा और एकाएक पछताते हुए बच्चे की तरह अपने सर को नीचे कर लिया , मानो वो सज़ा पाने के लिए तैयार था। 

सु कियानक्सुन कुछ नहीं बोली। 

उसे महसूस हुआ कि उसका दिल डूब गया हो। उसने अपने शर्ट को कस के जकड़ लिया। जैसा कि बाद में पता चला, उस योजना के पीछे तांग जुई था। '

तांग जुई को इंतज़ार था कि वो उसका अपमान करेगी। थोड़ी देर में , उसकी चुप्पी को महसूस कर के , उसने अपने सर को उठाया और देखा कर कहा ," तुम मुझे मार सकती हो और मुझे पीट सकती हो। चलो आगे बढ़ो। मैं वापिस नहीं लडूंगा। " 

भले ही सु कियानक्सुन नहीं जानती थी कि तांग जुई ने ऐसा कुछ क्यों करा होगा , वह मन में यह जानती थी कि तांग जुई का मतलब उसे नुकसान पहुंचाना नहीं था।

" अगर तुम चाहते हो कि मैं तुम्हे माफ़ करदूँ , तुम्हे मेरा एक काम करना होगा। तभी हम एक दूसरे से सहमत होंगे। "

" क्या काम ? पूछो। तुम मुझे से कितने भी काम कह सकती हो। मैं तुम्हारी मदद के लिए कुछ भी करूंगा। " 

" यह मियां के बारे में है। " 

जब तांग जुई ने सुना कि सवाल गु मियां के बारे में है , उसकी आँखों में गुस्सा आ गया। ' क्या गु मियां ने सु कियानक्सुन से मेरे बारे में कुछ कहा है ? 

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